प्यासा कौआ की कहानी लिखी हुई, The Thirsty Crow Story In Hindi Written, Pyasa Kauwa Kahani Hindi Mein Likhi Hui, Pyasa Kauwa Poem Kavita
फ्रेंड्स, इस पोस्ट में हम प्यासा कौआ की कहानी (The Thirsty Crow Story In Hindi) और प्यासा कौवा कविता (Pyasa Kauwa Poem In Hindi) शेयर कर रहे हैं. यह कहानी बच्चों की एक शिक्षाप्रद कहानी (Story For Kids In Hindi With Moral) है, जो विपत्ति के समय धैर्य और सूझबूझ से काम लेना सिखलाती है. प्यासा कौआ की यह कहानी (Pyasa Kauwa Kahani) एक पुरानी कहानी है और हमेशा से बच्चों के बीच लोकप्रिय रही है. पढ़िए :
Pyasa Kauwa Kahani Kavita | The Thirst Crow Story & Poem
Table of Contents
प्यासा कौआ की कहानी | The Thirsty Crow Story In Hindi
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गर्मियों के दिन थे. एक कौआ प्यास से बेहाल था और पानी की तलाश में यहाँ-वहाँ भटक रहा था. किंतु कई जगहों पर भटकने के बाद भी उसे पानी नहीं मिला.
वह बहुत देर से उड़ रहा था. लगातार उड़ते रहने के कारण वह बहुत थक कर चूर हो चुका था. उधर तेज गर्मी में उसकी प्यास बढ़ती जा रही थी. धीरे-धीरे वह अपना धैर्य खोने लगा. उसे लगने लगा कि अब उसका अंत समय निकट है. आज वह अवश्य मृत्यु को प्राप्त हो जायेगा.
थकान के कारण अब उससे उड़ा नहीं जा रहा था. कुछ देर आराम करने वह एक मकान की छत पर बैठ गया. वहाँ उसने देखा कि छत के एक कोने में घड़ा रखा हुआ है. घड़े में पानी होने की आस में वह उड़कर घड़े के पास गया और उसके अंदर झांक कर देखा.
कौवे ने देखा कि घड़े में पानी तो है, किंतु इतना नीचे है कि उसकी चोंच वहाँ तक नहीं पहुँच सकती थी. वह उदास हो गया. उसे समझ नहीं आ रहा था कि कैसे घड़े में रखे पानी तक पहुँचे. लेकिन फिर उसने सोचा कि उदास होने से काम नहीं चलेगा, कोई उपाय सोचना होगा.
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घड़े के ऊपर बैठे-बैठे ही वह उपाय सोचने लगा. सोचते-सोचते उसकी दृष्टि पास ही पड़े कंकड़ो के ढेर पर पड़ी. फिर क्या था? कौवे के दिमाग की घंटी बज गई. उसे एक उपाय सूझ गया.
बिना देर किये वह उड़कर कंकडों के ढेर पर पहुँचा और एक उनमें से एक कंकड़ अपनी चोंच से उठाकर घड़े तक लाकर घड़े में डाल दिया. वह एक-एक कंकड़ अपनी चोंच से उठाकर घड़े में लाकर डालने लगा. कंकड़ डालने से घड़े का पानी ऊपर आने लाग. कुछ देर में ही घड़े का पानी इतना ऊपर आ गया कि कौआ उसमें चोंच डालकर पानी पी सकता था. कौवे की मेहनत रंग लाई थी और वह पानी पीकर तृप्त हो गया.
सीख (Moral Of The Pyasa Kauwa Story )
“चाहे समय कितना ही कठिन क्यों न हो, धैर्य से काम लेना चाहिए और उस कठिनाई से निकलने के लिए बुद्धि का प्रयोग करना चाहिए. धैर्य और बुद्धि से हर समस्या का निवारण संभव है. “
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Thirst Crow Story In Hindi Short
एक प्यासा कौवा पानी की खोज में भटक भटक रहा था. उड़ते-उड़ते वह एक मकान की छत पर पहुँचा. वहाँ उसने देखा कि कोने में एक मटका रखा हुआ है. उस मटके में पानी तो था, लेकिन बहुत नीचे. कौवे की चोंच पानी तक नहीं पहुँच पा रही थी.
उसने युक्ति लगाईं और कंकड़ों के ढेर में से एक-एक कंकड़ लाकर मटके में डालने लगा. कुछ ही देर में मटका कंकड़ों से भर गया और पानी ऊपर आ गया. कौआ पानी पीकर तृप्त हो गया.
सीख (Moral of the thirsty crow story in hindi short)
“किसी भी समस्या का निराकरण धैर्य और बुद्धि द्वारा किया जा सकता है.”
एक प्यासा कौआ कविता | Pyasa Kauwa Poem In Hindi
एक कौआ प्यासा था.
एक कौआ प्यासा था.
घड़े में थोड़ा पानी था.
कौआ लाया कंकड़
घड़े में डाला कंकड़
ऊपर आया पानी
कौवे ने पिया पानी
खत्म हुई कहानी
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