रूथ की कहानी बाइबल | Ruth Story Bible In Hindi 

रूथ की कहानी (Ruth Ki Kahani) बाइबल के पुराने नियम में रूथ की पुस्तक में वर्णित है। यह एक सुंदर और प्रेरणादायक कथा है जो वफादारी, भक्ति, और परमेश्वर के प्रति विश्वास को दर्शाती है। यहाँ हम रूथ की कहानी का संक्षिप्त विवरण प्रस्तुत कर रहे हैं:

Ruth Ki Kahani 

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Ruth Ki Kahani

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रूथ की कहानी मूआब देश में शुरू होती है। बेतलेहम के एक व्यक्ति एलीमेलेक अपनी पत्नी नाओमी और दो पुत्रों, मखलोन और किल्योन के साथ मूआब में बसने के लिए चला जाता है। कुछ समय बाद एलीमेलेक की मृत्यु हो जाती है। उसके दो पुत्र मूआब की स्त्रियों से विवाह करते हैं—मखलोन ने रूथ से और किल्योन ने ओरपा से। लगभग दस साल बाद, नाओमी के दोनों पुत्र भी मर जाते हैं, और नाओमी अपने दोनों विधवा बहुओं के साथ अकेली रह जाती है।

नाओमी अपने देश वापस लौटने का निर्णय लेती है क्योंकि उसने सुना है कि बेतलेहम में अब अकाल समाप्त हो गया है और वहां परमेश्वर ने अपने लोगों पर कृपा दिखाई है। वह अपनी दोनों बहुओं से कहती है कि वे अपने-अपने माता-पिता के घर लौट जाएं और पुनः विवाह कर लें। ओरपा तो नाओमी को छोड़कर अपने घर वापस चली जाती है, लेकिन रूथ नाओमी के साथ रहने का निश्चय करती है।

रूथ नाओमी से कहती है:

“जहाँ तुम जाओगी, मैं भी वहीं जाऊंगी; जहाँ तुम रहोगी, मैं भी वहीं रहूँगी। तुम्हारा लोग मेरा लोग और तुम्हारा ईश्वर मेरा ईश्वर होगा। जहाँ तुम मरोगी, मैं भी वहीं मरूँगी और वहीं दफनाई जाऊंगी।”

नाओमी और रूथ बेतलेहम लौट आती हैं। बेतलेहम में उनके आगमन का समय जौ की फसल के कटाई के समय होता है। जीविका के लिए रूथ खेतों में बालें बीनने का काम करती है। वह एक खेत में काम करने जाती है, जो कि एक धनी व्यक्ति, बोअज का है। बोअज का नाओमी के परिवार से संबंध होता है, और वह नाओमी के पति एलीमेलेक का रिश्तेदार है।

बोअज रूथ की वफादारी और भक्ति से प्रभावित होता है। वह रूथ का विशेष ध्यान रखता है और अपने काम करने वालों को आदेश देता है कि वे उसके लिए अतिरिक्त अनाज छोड़ दें। नाओमी को जब यह पता चलता है कि रूथ बोअज के खेत में काम कर रही है, तो वह उसे बताती है कि बोअज हमारा रिश्तेदार और उत्तराधिकारी है।

नाओमी रूथ को सलाह देती है कि वह बोअज के निकट जाकर उसके पैरों के पास लेट जाए और उसे अपनी स्थिति के बारे में बताए। रूथ नाओमी की बात मानती है। बोअज रूथ की वफादारी से और अधिक प्रभावित होता है और उसका कर्तव्य निभाने के लिए तैयार हो जाता है। हालांकि, एक और निकट का रिश्तेदार होता है, जिसे पहले यह अधिकार होता है। बोअज उसके साथ बातचीत करता है और वह व्यक्ति अपने अधिकार का त्याग कर देता है। इसके बाद, बोअज रूथ से विवाह करता है।

बोअज और रूथ का विवाह परमेश्वर की योजना का हिस्सा बनता है। उनके एक पुत्र होता है, जिसका नाम ओबेद रखा जाता है। ओबेद, इस्राएल के महान राजा दाऊद का दादा बनता है। इस प्रकार रूथ, जो एक मूआबी स्त्री थी, मसीह के वंश में एक महत्वपूर्ण स्थान प्राप्त करती है।

सीख

रूथ की कहानी वफादारी, भक्ति, और विश्वास की एक अद्भुत कथा है। रूथ का नाओमी के प्रति प्रेम और निष्ठा, बोअज का अनुग्रह और भलाई, और परमेश्वर की योजना इस कहानी के प्रमुख तत्व हैं। यह कहानी हमें सिखाती है कि कठिन परिस्थितियों में भी यदि हम सच्चाई, वफादारी, और विश्वास के मार्ग पर चलते हैं, तो परमेश्वर हमें आशीर्वाद और अनुग्रह से नवाजते हैं।

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