फ्रेंड्स, इस पोस्ट में हम शेखचिल्ली की कहानी “डंडे का कसूर” (Kahani Shekh Chilli Ki) शेयर कर रहे हैं. नौकरी करने पहली बार शहर गए शेख चिल्ली की बीवी उसे चमेली का तेल भिजवाने को कहती है. क्या वह चमेली का तेल भिजवा पाता है? किस तरह से? क्या मज़ेदार घटनाक्रम होता है? जानने के लिए पढ़िये शेख चिल्ली का ये किस्सा (Shekh Chilli In Post Office Comedy Story In Hindi) :
Kahani Shekh Chilli Ki
Table of Contents
पढ़े शेखचिल्ली की संपूर्ण कहानियाँ
शेख चिल्ली को शहर में नौकरी मिल गई और वो शहर आ गया. शहर की आधुनिक व्यवस्थाओं से वह अनभिज्ञ था. इसलिए जैसे-तैसे अपना काम कर रहा था.
एक दिन उसके मालिक ने उसे मनी ऑर्डर फॉर्म के साथ कुछ पैसे दिए और कहा, “चिल्ली! जाओ मनी आर्डर करके आओ.”
शेख चिल्ली को बात समझ नहीं आई. तब मालिक समझाते हुए बोला, “डाक खाने जाओ. वहाँ कहना कि तुम्हें मनी आर्डर करना है. बाकी सब वो कर देंगे. बस तुम ये फॉर्म और पैसे उन्हें दे देना.”
सिर हिलाकर शेख चिल्ली ने डाक खाने का रास्ता पकड़ लिया. रास्ते भर वो हैरान रहा कि क्या इस तरह भी कहीं कुछ भेजा जा सकता है. खैर, वो डाक खाने पहुँच गया और वहाँ बैठे डाक कर्मी को मनी आर्डर फॉर्म और रूपये देकर बोला, “मनी ऑर्डर करना है.”
डाक कर्मी ने मनी ऑर्डर कर दिया.
“इससे होगा क्या?” शेख चिल्ली ने पूछा.
“ये पैसे जिसे भेजे हैं, उसे मिल जायेंगे.” डाक कर्मी ने जवाब दिया.
शेख चिल्ली बड़ा हैरान.
वो दिन भी आया, जब शेख चिल्ली को पहला वेतन मिला. वेतन मिलते ही उसे पहला ख्याल बेगम का आया. शहर के लीये निकलते समय बेगम बोली थी कि वहाँ से चमेली का तेल भेज देना.
पढ़ें : तेनालीराम की सर्वश्रेष्ठ कहानियाँ
शेख चिल्ली ने पहले वेतन से बेगम की आरज़ू पूरी की. बाज़ार जाकर चमेली का तेल ख़रीद लाया और डाक खाने पहुँच गया. वहाँ डाक कर्मी से बोला, “ये तेल अपने गाँव भेजना है. जल्दी से मनी ऑर्डर कर दो.”
शेख चिल्ली की बात सुनकर कुछ देर के लिए तो डाक कर्मी हक्का-बक्का रह गया. फिर उसकी बेवकूफ़ी समझ में आने पर मुस्कुराते हुए बोला, “ठीक है, दे दो तेल की शीशी और आराम से घर जाओ.”
कई दिन बीत गए. एक दिन शेख चिल्ली को बेगम की चिट्ठी मिली. चिट्ठी में लिखा था, “क्यों जी, अब तक चमेली का तेल नहीं भेजा. तनख्वाह नहीं मिली क्या?”
यह पढ़कर शेख चिल्ली झल्ला सा गया. वह फ़ौरन डाक खाने पहुँचा और डाक कर्मी से शिकायती लहज़े में बोला, “कुछ दिन पहले मैंने चमेली का तेल मनी ऑर्डर किया था. वह अब तक मेरे घर क्यों नहीं पहुँचा?”
डाक कर्मी शेख चिल्ली को पहचान गया. वह स्थिति संभालते हुए बोला, “दरअसल बात यह है कि तुम्हारा तेल मनी ऑर्डर से जा रहा था. लेकिन उधर से किसी ने एक डंडा भेज दिया. उस डंडे की मार से तेल की शीशी टूट गई. ऐसे में मैं क्या करूं?”
“अच्छा ऐसी बात है. फिर तुम क्या कर सकते हो? ये तो डंडा भेजने वाले का कुसूर है. मिल जाए, तो हड्डी-पसली एक कर दूं.” कहता हुआ शेख चिल्ली चल दिया.
दोस्तों, आशा है आपको ये “Kahani Shekh Chilli Ki“ पसंद आयी होगी. आप इसे Like कर सकते हैं और अपने Friends के साथ Share भी कर सकते हैं. मज़ेदार “Sheikh Chilli Story In Hindi” पढ़ने के लिए हमें Subscribe ज़रूर कीजिये. Thanks.
Read More Story In Hindi
आलसी की दावत : मुल्ला नसरुद्दीन का किस्सा
अनोखा नुस्खा : मुल्ला नसरुद्दीन का किस्सा
सबसे उज्जवल क्या? : अकबर बीरबल का किस्सा
अदृश्य वस्त्र : तेनाली राम का किस्सा